अरुणाचल के बागों में लहलहाया लखनऊ का गुलाबी अमरूद

ईटानगर खबर मोर्चा संवाददाता। लखनऊ का गलाबी अमरूद अब अरुणाचल प्रदेश के बागों की रौनक बढ़ रहा है। केंद्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान (सीआईएसएच) रहमानखेड़ा द्वारा विकसित अमरूद की नस्ल ललित को इसी साल अरुणाचल प्रदेश के किसानों ने लगाया है। वहां के किसानों ने नौ महीने पहले संस्थान से एक लाख पौधे खरीदे थे। पौधे देने के साथ ही सीआईएसएच के विशेषज्ञ उन्हें प्रशिक्षण भी दे रहे हैं। अरुणाचल प्रदेश की पथरीली जमीन में एक इतने कम समय में फूल देखकर वहां के किसान आश्चर्यचकित हैं। अरुणाचल प्रदेश में झम, अनानास, संतरा, सेब, अनार, आलू बुखारा सहित अन्य पहाड़ी फल होते हैं। वहां प्रगतिशील खेती करने वाले किसान लिखा माज और आदिवासी संगठनों ने एग्रो ग्रामीण लिमिटेड और ग्रीन गोल्ड नहरलागुन के सहयोग से " लखनऊ के रहमानखेड़ा स्थित सीआईएसएच से संपर्क किया और अमरूद के एक लाख पौधे खरीदे। बारिश के मौसम में वे ट्रकों के जरिए लाखों रुपये खर्च करके पौधे ले गए। वहां उन्होंने खुद पौधे लगाने के साथ दूसरे किसानों को भी इसके लिए तैयार किया। शुरुआत में लिंगा माज और उनकी पत्नी लिखा अजा लोलेन मिलकर आठ किसानों की टीम बनाई। फिर 100 किसानों को तैयार किया। उसके बाद 105 हेक्टेअर में पौधे लगाए। माज वहां पर खुद खेती करने के साथ ही नए प्रयोग करके किसानों को प्रोत्साहित भी करते हैं। वहां के लोगों को रबर की खेती का रास्ता दिखाकर उनकी हिमाचल में पहचान बनी। उन्हें रबर टाइकून के नाम से भी जाना जाता है। अब वह अमरूद की खेती को बढ़ावा देकर वहां मेगा पार्क बनाने की योजना तैयार कर रहे हैंसाथ ही किसानों को खाद्य प्रसंस्करण से जोड़कर पल्प बनाने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं।